
अधिगम वक्र (Learning Curve)
सीखने का जब समय के साथ वक्र बनाया जाए तो इसे अधिगम वक्र (Learning Curve) कहते है। ये चार प्रकार के होते हैं-
- सरल रेखीय वक्र (Simple Linear Learning Curve)
- उन्नतोदर वक्र (Diminishing Return Learning Curve)
- नत्तोदर वक्र (Increasing-Return Learning Curve)
- मिश्रित वक्र (Mixed Learning Curve)
सरल रेखीय अधिगम वक्र (Simple Linear Learning Curve)
अधिगम की दर तथा अधिगम को सीखने में लगाया गया समय दोनों निश्चित अनुपात में होते है।
इस प्रकार के अधिगम में अधिगम की दर तथा समय का वक्र सरल रेखा में प्राप्त होता है। परंतु ऐसा वक्र कर सामान्यतः संभव नहीं है। क्योंकि मनुष्य केर सीखने की दर समय के साथ एकसमान नहीं रहती।
उन्नतोदर वक्र (Diminishing Return Learning Curve)
यदि अधिगम में लिया गया समय कम तथा अधिगम की दर अधिक हो तो उन्नतोदर वक्र कर प्राप्त होता है। जिसमें प्रारंभिक समय में अधिगम दर अधिक होती है। परंतु समय बढ़ने के साथ-साथ यह स्थिर हो जाती है।
इस प्रकार के अधिगम में अधिगम की दर तथा समय का वक्र अतिपरवलय (Hyperbola) प्राप्त होता है।
नत्तोदर वक्र (Increasing-Return Learning Curve)
अधिगम में लिया गया समय अधिक तथा अधिगम की दर कम हो तो नत्तोदर वक्र कर प्राप्त होता है। नत्तोदर वक्र में प्रारंभ में अधिगमकी दर कम होती है। परंतु समय बढ़ने के साथ-साथ अधिगम की दर अधिक होती जाती है।
इस प्रकार के लर्निंग में अधिगम की दर तथा समय का वक्र J आकार का प्राप्त होता है। यह सर्वश्रेष्ठ अधिगम वक्र है।
मिश्रित वक्र (Mixed Learning Curve)
यह उन्नतोदर वक्र तथा नत्तोदर वक्र का मिश्रित रूप है।
इस प्रकार के सीखने में अधिगम की दर तथा समय का वक्र S आकार का प्राप्त होता है। लेकिन ऐसा सामान्यतः संभव नहीं है। क्योंकि मानव जीवन की हर अवस्था में कुछ ना कुछ सीखता रहता है।
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